चारधाम यात्रा पर अब तक पहुंचे 31.88 लाख श्रद्धालु, केदारनाथ धाम में हुआ 300 करोड़ का कारोबार

चारधाम यात्रा पर अब तक पहुंचे 31.88 लाख श्रद्धालु, केदारनाथ धाम में हुआ 300 करोड़ का कारोबार
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रैबार डेस्क: विश्वप्रसिद्ध चारधाम यात्रा पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ रही है। खराब मौसम भी श्रद्धालुओं का हौसला नहीं डिगा पा रहा है। बुधवार शाम तक चारों धामों में कुल 31 लाख 88 हजार लोग दर्शन कर चुके हैं। अकेले केदारनाथ धाम में करीब 12 लाख श्रद्धालु आ चुके हैं। खास बात ये है कि चारधाम यात्रा के दौरान स्थानीय स्तर पर कारोबार जमकर फल-फूल रहा है। केदारनाथ धाम में पिछले 48 दिनों में कुल 300 करोड़ रुपए का कारोबार हुआ है।
चारधाम यात्रा की बढ़ती लोकप्रियता
18 जून शाम 7 बजे तक बदरीनाथ धाम पहुंचने वाले श्रद्धालुओं की कुल संख्या 8 लाख 86 हजार रही। जबकि केदारनाथ में ये आंकड़ा 11 लाख 43 हजार को पार कर गया। इसी तरह अब तक 5 लाख 12 हजार लोग गंगोत्री धाम के दर्शन कर चुके हैं, जबकि यमुनोत्री के दर्शन 5 लाख 5 हजार से ज्यादा लोगों ने किए हैं। हेमकुंड साहिब में भी 1 लाख 35 हजार श्रद्धालु आ चुके हैं। इस तरह 30 अप्रैल से शुरू हुई चारधाम यात्रा में कुल 31 लाख 88 हजार से ज्यादा यात्री आ चुके हैं।
केदारनाथ में 300 करोड़ का कारोबार
प्रदेश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ चारधाम यात्रा से स्थानीय स्तर पर जमकर कारोबार हो रहा है। अकेले केदारनाथ धाम में 48 दिन के भीतर घोड़े-खच्चर, हेली सेवा, डंडी-कंडी सहित होटल, रेस्तरां व्यापारियों ने 300 करोड़ कारोबार किया है।
घोड़ा-खच्चर संचालन से आय
केदारनाथ धाम यात्रा देश की सबसे कठिन धार्मिक यात्राओं में से एक है। 20 किलोमीटर का कठिन पैदल मार्ग पार करने के बाद हिमालय पर्वत की गोद में बसे 11 वें ज्योतिलिंग के दर्शन हो पाते हैं। इस कठिन पैदल धार्मिक यात्रा में घोड़े-खच्चरों का बेहद अहम योगदान होता है। मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. आशीष रावत ने बताया कि 18 जून तक 227614 श्रद्धालु घोड़े-खच्चरों के द्वारा केदारनाथ धाम पहुंचे। इससे लगभग 67 करोड़ की आय प्राप्त हुई है।
हेली सेवा का योगदान
केदारनाथ हेली सेवा के नोडल अधिकारी राहुल चौबे ने बताया, इस वर्ष आठ कंपनियां नौ हेलिपैड से हेली सेवा का संचालन कर रही हैं। 18 जून तक 49247 श्रद्धालु हेलिकॉप्टर से केदारनाथ पहुंचे। हेलिकॉप्टर किराए के रूप में 60 करोड़ रुपये की आय प्राप्त हुई है।
डंडी-कंडी और टैक्सी सेवाओं से आय
केदारनाथ पैदल यात्रा मार्ग पर बुजुर्ग श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए डंडी-कंडी का संचालन किया जाता है। इस वर्ष की यात्रा के लिए 7000 से अधिक डंडी-कंडी संचालक पंजीकृत हैं। 18 जून तक डंडी-कंडी से दो करोड़ 2 लाख, 71 हजार 300 रुपए की आय प्राप्त हुई है। इसके अलावा, टैक्सी शटल सेवा से 14 करोड़ की आय हुई है।
होटल प्रतिष्ठानों का कारोबार
गौरीकुंड व्यापार संघ अध्यक्ष रामचंद्र गोस्वामी ने कहा, केदारनाथ धाम यात्रा का स्वरूप हर वर्ष बढ़ता जा रहा है। इस वर्ष भी ऐतिहासिक रूप से यात्रा हो रही है। अकेले गौरीकुंड में करीब 350 होटल प्रतिष्ठान हैं, जबकि पूरे यात्रा मार्ग में 2000 से अधिक होटल एवं रेस्तरां और टेंट की व्यवस्था है। केदारनाथ धाम यात्रा पर आने वाले एक यात्री का रहने एवं खाने का औसत खर्चा 1500 से 2000 रुपए न्यूनतम होता है। अब तक यात्रा पर पहुंचे 11.40 लाख श्रद्धालुओं के हिसाब से औसत निकाला जाए तो 150 करोड़ रुपये का कारोबार हुआ है।
निष्कर्ष
चारधाम यात्रा ने न केवल धार्मिक महत्व को बढ़ाया है, बल्कि स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी मजबूत किया है। इस यात्रा में शामिल होने वाले श्रद्धालुओं की संख्या और पूरे स्थानीय क्षेत्र का कारोबार इसकी बढ़ती लोकप्रियता को दर्शाता है। चारधाम यात्रा सचमुच धार्मिक आस्था का अनूठा उदाहरण है।
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